द पब्लिकेट, नई दिल्ली। मोदी 3.0 का पहला आम बजट मंगलवार को वित्त मंत्री निर्मला सितारमण ने संसद मे पेश किया। बजट मे किराये से मकान और फ्लैट देकर उसके जरिए कमाई करने वाले मकान मालिकों के लिए नया प्रावधान लाया गया है।

नए प्रावधान के अंदर इंकम टैक्स भरते समय मकान या फ्लैट के किराये से मिलने वालों पैसों को अब बिजनेस इंकम के रूप में नहीं बल्कि हाउज़िंग प्रॉपर्टी से हुई इंकम के रूप मे बताना होगा।

निर्मला सितरामण ने इंकम टैक्स ऐक्ट मे संशोधन का जिक्र करते हुए कहा की आवासीय संपत्ति को किराये से देने पर मिलने वाली कमाई को बिजनेस इंकम के बजाए हाउज़िंग प्रॉपर्टी से कमाई के रूप मे दिखाया जाना चाहिए। उनका कहना है की टैक्स पेयर्स प्रॉपर्टी के मेंन्टेनेंस, डेप्रिसिएशन और टूट-फुट की मरम्मत जैसे खर्चों को जोड़कर कमाई को कम करके दिखते है। जिससे उनकी कमाई कम दिखती है और उनको कम टैक्स भरना पड़ता है (वो टैक्स चोरी करते है)।

वित्त मंत्री ने बजट भाषण मे केंद्र सरकार को धारा 28 मे संशोधन करने का प्रस्ताव भी दिया, जिसके बाद टैक्स पेयर किराये से होने वाली कमाई को बिजनेस इंकम के रूप मे नहीं दिखा सकेंगे।आय मद के तहत बिजनेस और गृहसंपत्ति तय होगी। अनुमान लगाया जा रहा है की नए नियम आने से टैक्स चोरी करने वाले लोगों की देनदारी बढ़ सकती है।

यह संशोधन अगले वित्त वर्ष 1 अप्रैल 2025 से प्रभावी होगा।

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